Chhatarpur News: पुलिस थाने में घंटों चला हाई वोल्टेज ड्रामा, दलित परिवार का हिरासत में मारपीट का आरोप
Chhatarpur News: मध्य प्रदेश की मोहन यादव सरकार (Mohan Yadav Government) के राज में कानून व्यवस्था (Law and Order) बुरी तरह से चरमराती हुई दिखाई दे रही है। आए दिन अपराधिक वारदातों के बीच पुलिस की मनमानी की खबरें भी आती रहती हैं। शनिवार को छतरपुर में पुलिसिया मनमानी और क्रूरता का एक घिनौना चेहरा सामने आया। आइए पूरे मामले पर एक नजर डालते हैं।
मामला छतरपुर जिले के खजुराहो के ओरछा रोड थाना क्षेत्र के सौरा गांव का है जहां एक दलित परिवार को दो थानों की पुलिस के द्वारा मारपीट का शिकार होना पड़ा। पुलिस ने परिवार के पुरुषों के अलावा महिलाओं तक को नहीं छोड़ा। सभी को घसीटकर थाने लाया गया और उनके साथ जमकर मारपीट की गई। इस बारे में दोनों पक्षों के ही अलग-अलग तर्क हैं। पुलिस ने मारपीट के आरोपों का सिरे से नकारा है।
पारिवारिक जमीनी विवाद
सौरा गांव के रामलाल अहिरवार को जमीनी विवाद में उसका बेटा, बहू और नाती परेशान करते हैं। रामलाल ने अपनी जमीन को एक फर्म को बेच दिया था। इस बात से लेकर बेटे-बहू और नाराज हो गए। शनिवार को जमीन का सीमांकन होना था। इसके लिए तहसीलदार, पटवारी और आरआई मौके पर पहुंचे थे।
जमीन के सीमांकन के दौरान वहां बेटा बबलू और महिलाएं आकर विवाद करने लगे। विवाद अधिक बढ़ने लगा तो पटवारी और तहसीलदार द्वारा पुलिस को सूचना दी गई। इस पर पुलिसवाले मौके पर पहुंचे और उत्पात मचाने वालों को गाड़ी में बिठाकर थाने ले गए। पीड़ितों का आरोप है कि पुलिस ने उन्हें थाने ले जाकर जमकर पिटाई की।
पुलिस ने मारपीट की बात नकारी
इस बारे में जब पुलिस का पक्ष जानना चाहा तो उन्होंने कहा कि मारपीट जैसी कोई बात नहीं है। पुलिस पर मारपीट के आरोप सरासर गलत हैं। थाने में सीसीटीवी कैमरे लगे हैं किसी के साथ मारपीट नहीं हुई है। सही समय आने पर वीडियो भी बतौर सबूत पेश किया जा सकता है।
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