Til Bhandeshwar Mahadev: मुख्यमंत्री ने तिल भांडेश्वर महादेव मंदिर में की पूजा, सुख समृध्दि की कामना की
Til Bhandeshwar Mahadev: उज्जैन। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मध्यप्रदेश के उज्जैन के तराना स्थित प्राचीन तिल भांडेश्वर महादेव मंदिर में पूजा कर प्रदेश की जनता की सुख समृद्धि की कामना की। उनके साथ सम्मानीय साधु संत और भाजपा के जन प्रतिनिधि मौजूद रहे। आज उज्जैन जिले के तराना में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने तराना में 2489.65 करोड़ रुपए की नर्मदा-शिप्रा बहुउद्देशीय माइक्रो उदवहन सिंचाई परियोजना का रिमोट से शुभारंभ किया।
तिल भांडेर में सीएम ने की पूजा
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने गुरूवार को उज्जैन जिले के तराना स्थित तिल भांडेश्वर मंदिर में पूजा की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने देव दर्शन के बाद कार्यक्रमों में साधु संतों का सम्मान किया और चरण स्पर्श कर आशीर्वाद भी लिया। मुख्यमंत्री ने बृह्मलीन महंत श्री प्रकाशनंद जी भारती की समाधि पर पुष्पांजलि और चादर अर्पित की। उन्होंने श्री महारूद्र सहस्त्र चंडी महायज्ञ में आहुति दी और ईश्वर से कामना की कि प्रदेश में सुख समृद्धि बनी रहे।
मुख्यमंत्री ने मंदिर परिसर मे पीपल का पौधा रोपा। उन्होंने मंदिर परिसर में सत्संग भवन निर्माण के लिए भूमि-पूजन किया। इस अवसर पर अखाड़ा परिषद के महामंत्री स्वामी श्री हरि गिरि महाराज और महंत श्री मोहन भारती जी महाराज, सांसद अनिल फिरोजिया, प्रभारी मंत्री, गौतम टेटवाल, स्थानीय विधायक, साधु संत और जन-प्रतिनिधि उपस्थित रहे।
इन कार्यक्रमों में भी शामिल हुए मुख्यमंत्री
सीएम ने कहा कि विश्व में सनातन ही एकमात्र धर्म है, जो प्रकृति को समाहित करता है। मुख्यमंत्री तराना स्थित तिल भांडेश्वर महादेव मंदिर में दशनाम जूना अखाड़ा के मोहन भारती महाराज के महंत बनने पर आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि सनातन को समझने के लिए साधु-संतों के जीवन और उनके अनुभवों को समझना आवश्यक है। तिल भांडेश्वर मंदिर को धार्मिक लोक के रूप में विकसित किया जायेगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार उज्जैन को धार्मिक-सांस्कृतिक केंद्र के रूप में स्थापित करने का प्रयास कर रही है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य सरकार गौ-शालाओं के लिए विशेष प्रावधान कर रही है। सभी गौ-शालाओं में एक गौ-वंश के लिए प्रतिदिन 40 रूपये की अनुदान राशि दी जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि साधु-संत सनातन की धुरी हैं। सनातन धर्म साधु-संतों के मार्गदर्शन में काम करता रहा है। उन्होंने उज्जैन में आयोजित होने जा रहे सिंहस्थ-2028 के लिये साधु-संतों को आमंत्रित करते हुए कहा कि सिंहस्थ के लिये उज्जैन में साधु-संतों को स्थाई प्रकृति के निर्माण की भी स्वीकृति मिलेगी। इससे साधु-संतों को किसी प्रकार की समस्या नहीं आयेगी।
(उज्जैन से संजय पाटीदार की रिपोर्ट)
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