मध्य प्रदेशराजनीतिनेशनलअपराधकाम की बातहमारी जिंदगीधरम करममनोरंजनखेल-कूदवीडियोधंधे की बातपढ़ाई-रोजगारदुनिया

Gwalior Pollution AQI: करोड़ों खर्च करने के बाद भी कम नहीं हुआ ग्वालियर में प्रदूषण, सरकार ने लिया बड़ा एक्शन

ग्वालियर शहर की जर्जर खस्ताहाल सड़कें, बिना ढंके निर्माण कार्य और सड़कों पर उड़ती धूल को कंट्रोल करने के लिए 15वें वित्त से वायु गुणवत्ता सुधार के लिए नगर निगम को वित्तीय वर्ष 2024-25 में 30 करोड़ की राशि मिल सकती है।
02:51 PM Mar 17, 2025 IST | Sunil Sharma

Gwalior Pollution AQI: ग्वालियर। मध्य प्रदेश के ग्वालियर नगर निगम को शहर की वायु गुणवत्ता सुधार के लिए 15वें वित्त आयोग से प्रदूषण कंट्रोल करने के लिए हर साल बड़ी धनराशि मिलती है। रिपोर्ट्स के अनुसार ग्वालियर नगर निगम को पिछले पांच वर्षों में अब तक 95 करोड़ 16 लाख रुपए की राशि स्वीकृत हुई है और नगर निगम इस राशि को खर्च भी कर चुका है। लेकिन उसके बाद भी शहर भर में उड़ती धूल से हो रहा प्रदूषण हर दिन शहरवासियों की सांसों में जहर घोल रहा है।

ग्वालियर नगर निगम को मिलने थे 28 करोड़ रुपए, लेकिन कट गए 21 करोड़

ग्वालियर शहर की जर्जर खस्ताहाल सड़कें, बिना ढंके निर्माण कार्य और सड़कों पर उड़ती धूल को कंट्रोल करने के लिए 15वें वित्त से वायु गुणवत्ता सुधार के लिए नगर निगम को वित्तीय वर्ष 2024-25 में 30 करोड़ की राशि मिल सकती है। लेकिन नगर निगम को शहर भर में साफ, स्वच्छ हवा के साथ एक्यूआई को भी कंट्रोल करना होगा। शायद ये संभव नहीं है क्योंकि ग्वालियर में एक्यूआई (Gwalior Pollution AQI) बढ़ा हुआ है। साल 2023-24 में निगम को 15वें वित्त आयोग से 28 करोड़ रुपए मिलने थे। लेकिन शहर की हवा साफ नहीं होने के चलते ग्रांट में से 21 करोड़ रुपए काट लिए गए हैं।

अधिकारियों का यह है कहना

इस मामले में मध्य प्रदेश चेंबर ऑफ कॉमर्स इंडस्ट्री का कहना है कि सरकार को व्यापारियों और आम जनता से टैक्स के रूप में मिलने वाली राशि का निगम के अधिकारी दुरुपयोग कर रहे हैं। उनके पास कोई ठोस प्लानिंग नहीं है वहीं निगम सभापति भी स्वीकारते हैं कि सरकार की मंशा अनुसार निगम अधिकारियों ने शहर में काम नहीं किया है। केंद्र और प्रदेश सरकार से लगातार पैसा दिया गया है लेकिन उस पैसे को ठीक तरीके से इस्तेमाल नहीं किया गया। यही कारण है कि वायु गुणवत्ता में अब तक सुधार नहीं हो सका। जल्द ही इस मामले में निरंकुश और लापरवाह अधिकारियों के संबंध में नगरीय प्रशासन विभाग तक मामला पहुंचाया जाएगा।

ये रहे पैसा मिलने और खर्च होने के आंकड़ें

यदि आंकड़ों की बात की जाए तो ग्वालियर नगर निगम को प्रदूषण (Gwalior Pollution AQI) नियंत्रित करने के लिए काफी ज्यादा पैसा मिला और उस पैसे को खर्च भी किया गया है। आपको हम वह आंकड़ा भी दिखाते हैं जब नगर निगम को किस साल कितनी राशि मिली और कितनी खर्च हुई

प्रदूषण स्तर में होता है सुधार तो मिलेगी ग्रांट

शहर के वायु प्रदूषण में सुधार होता है तो साल 2024-25 में 30 से 22.5 करोड़ और साल-2025-26 में 31 में से 23.25 करोड़ यानी 75 प्रतिशत की राशि मिल सकती है। लेकिन ये राशि तभी मिलेगी जब हवा में PM 10 का लेवल 50 पाइंट होगा। यहां आपको बता दें कि अलॉट किए गए बजट में से जो राशि बाकी रह जाती है, वह दूसरे साल में वर्तमान वित्तीय वर्ष इंसेंटिव के रूप में मिल जाती है।

(ग्वालियर से सुयश शर्मा की रिपोर्ट)

यह भी पढ़ें:

Gwalior City News: पुरानी रंजिश के चलते बुजुर्ग को पालतू कुत्ते से कटवाया, फिर डंडे से पीटा, रिपोर्ट दर्ज करवाई तो हुआ फरार

Police Holi Gwalior: “पुलिस की होली” में जमकर उड़ा गुलाल, अफसरों ने रैंक भूलकर परिवार के साथ की मस्ती, लगाए ठुमके

Gwalior News: मध्य प्रदेश के तीन रेलवे स्टेशनों पर से 18 मजदूरों को जीआरपी पुलिस ने पकड़ा, धर्मांतरण के लिए ले जाया रहा था पंजाब

Tags :
Finance CommissionGwalior Nagar NigamGwalior Nagar Nigam NewsGwalior newsgwalior pollutiongwalior pollution aqiGwalior pradushan boardMadhya Pradesh Latest NewsMadhya Pradesh Newsmp firstMP First NewsMP Latest NewsMP newsVitt Aayogएमपी फर्स्टएमपी फर्स्ट न्यूज़मध्य प्रदेश न्यूज़मध्य प्रदेश लेटेस्ट न्यूज

ट्रेंडिंग खबरें

Next Article