Jabalpur Cyber Crime: रक्षा मंत्रालय के व्हीकल फैक्ट्री कर्मी से 16 लाख की ठगी, दिल्ली क्राइम ब्रांच का अधिकारी लगाया चूना
Jabalpur Cyber Crime जबलपुर: भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के अधीन संचालित जबलपुर की व्हीकल फैक्ट्री में कार्यरत परमजीत सिंह के साथ साइबर ठगों ने लाखों की ठगी की वारदात को अंजाम दिया है। साइबर अपराधियों ने जम्मू कश्मीर के रहने वाले परजीत सिंह के पास दिल्ली क्राइम ब्रांच का अधिकारी बन व्हाट्सऐप पर वीडियो कॉल (Jabalpur Defense Ministry Vehicle Factory) कर गिरफ्तारी वारंट का डर दिखाकर इस कदर अपने चंगुल में फंसाया कि परमजीत सिंह पल भर पर 16 लाख 30 हजार रुपए गंवा बैठे। इसके बावजूद भी जब ठग पैसे की लगातार डिमांड करते रहे तब परमजीत सिंह ने हिम्मत जुटाकर रांझी पुलिस थाने में इसकी शिकायत दर्ज कराई। पीड़ित की शिकायत पर पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
रक्षा मंत्रालय के व्हीकल फैक्ट्री कर्मी से 16 लाख की ठगी
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार, जबलपुर शहर में एक बार फिर से साइबर ठगी का गंभीर मामला सामने आया है। दिल्ली क्राइम ब्रांच का अफसर बन साइबर ठग ने भारत सरकार रक्षा मंत्रालय के अधीनस्थ संचालित व्हीकल फैक्ट्री जबलपुर (व्हीएफजे) में नौकरी करने वाले कर्मचारी 42 वर्षीय परमजीत सिंह को व्हाट्सऐप पर वीडियो कॉल किया। पुलिस वर्दी पहने अधिकारी ने परमजीत से कहा कि उन्होंने दिल्ली निवासी एक युवती से गलत काम किया है। युवती ने परेशान होकर आत्महत्या करने की बात कही है। ऐसे में परमजीत सिंह के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया जा रहा है।
जबलपुर में साइबर ठगी
गिरफ्तारी के लिए पुलिस की टीम घर पहुंचने वाली है। इतना सुनते ही परमजीत सिंह बिल्कुल घबरा गए और साइबर ठग ने गिरफ्तारी से बचने के लिए कुछ अकाउंट नंबर (Jabalpur Cyber Crime) देते हुए जुर्माना राशि ट्रांसफर करने को कहा। इतना ही नहीं साइबर ठगों ने चेतावनी भी दी कि इस बात को भूलकर भी किसी से साझा न करें वरना कार्रवाई नहीं रूकेगी। इतना सुनते ही परमजीत सिंह ने साइबर ठगों के झांसे में फंस गए।
16 लाख 30 हजार रुपए ट्रांसफर करने के बाद भी धमकी
पीड़ित परमजीत सिंह ने बताया, "11 दिसम्बर को जब फैक्ट्री में काम कर रहा था, तब व्हाट्सऐप पर वीडियो कॉल आया। खुद को दिल्ली क्राइम ब्रांच का अफसर बताने वाला पुलिस की वर्दी में था। पीछे का बैकग्राउंड भी हूबहू थाने जैसे दिख रहा था। साइबर अपराधियों ने गिरफ्तारी वारंट का डर दिखाया। गिरफ्तारी के डर से भयभीत होकर ठगों के द्वारा बताए गए बैंक अकाउंट में 16 लाख 30 हजार रुपए ट्रांसफर कर दिया। इसके बाद भी साइबर ठगों की धमकियां नहीं रूकी। लगातार 4-5 दिन तक साइबर ठगों ने फोन कर और रुपए की डिमांड की। इससे परेशान होकर रांझी थाने में शिकायत दर्ज कराई है।"
मामला दर्ज कर जांच में जुटी पुलिस
वहीं, एडिशनल एसपी आनंद कलादगी ने मामले की पुष्टि करते हुए कहा, "व्हीएफजे में कार्यरत परमजीत सिंह से दिल्ली क्राइम ब्रांच के अधिकारी बन 16 लाख से ज्यादा रुपए बैंक अकाउंट में ट्रांसफर कराए गए हैं। फरियादी से बैंक अकाउंट की डिटेल मिली है, जिसके आधार पर रांझी थाना पुलिस ने अज्ञात साइबर ठग के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर जांच में जुट गई है।"
साइबर ठगी का शिकार होने पर 1930 पर करें शिकायत
इसके साथ ही एडिशनल एसपी ने कहा "कभी भी कोई भी जांच एजेंसी फोन कॉल कर गिरफ्तारी की बात नहीं कहती है और न ही कभी किसी भी तरह का जुर्माना जमा करने के लिए कोई बैंक एकाउंट दिया जाता है। ऐसे किसी भी फोन कॉल से लोगों को डरने, घबराने की जरूरत नहीं है। ऐसे कोई भी फोन कॉल या घटना होती है तो हेल्प लाइन नम्बर 1930 या फिर पुलिस कंट्रोल रूम या अपने नजदीकी पुलिस थाने में तत्काल इसकी सूचना दे सकते हैं।"
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