Loksabha Election MP : MP में इन दिग्गजों पर आज सबकी नजर, किसका ढहेगा- किसका बचेगा गढ़

Loksabha Election MP : भोपाल। लोकसभा चुनाव के नतीजे आने में अब कुछ देर का समय बाकी है। इससे पहले मध्यप्रदेश की गुना, छिंदवाड़ा, राजगढ़ और विदिशा सीट पर सबकी निगाहें लगी हुई हैं, क्योंकि इन सीटों पर केंद्रीय मंत्री...
loksabha election mp   mp में इन दिग्गजों पर आज सबकी नजर  किसका ढहेगा  किसका बचेगा गढ़

Loksabha Election MP : भोपाल। लोकसभा चुनाव के नतीजे आने में अब कुछ देर का समय बाकी है। इससे पहले मध्यप्रदेश की गुना, छिंदवाड़ा, राजगढ़ और विदिशा सीट पर सबकी निगाहें लगी हुई हैं, क्योंकि इन सीटों पर केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया से लेकर पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज, कमलनाथ और दिग्विजय सिंह की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है।

गुना में ज्योतिरादित्य की जीत पक्की ?

गुना सीट मध्यप्रदेश की हॉट सीट है, यहां से कांग्रेस छोड़ भाजपा में शामिल हुए केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया चुनाव मैदान में हैं। जिनका कांग्रेस के राव यादवेंद्र सिंह से मुकाबला है।

इतिहास- गुना सीट पर पिछले करीब 15 साल से ज्योतिरादित्य कांग्रेस के टिकट पर सांसद का चुनाव जीतते आ रहे हैं। हालांकि 2019 में भी ज्योतिरादित्य यहां से चुनाव लड़े, मगर उन्हें भाजपा के कृष्णपाल सिंह यादव से हार का सामना करना पड़ा था।

विदिशा बना रहेगा भाजपा का गढ़ ?

विदिशा सीट पर भी सबकी नजरें टिकी हुई हैं। यहां से भाजपा ने पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को लोकसभा के चुनाव मैदान में उतारा है। जिनका मुकाबला कांग्रेस के प्रताप भानु शर्मा से है।

इतिहास- यह सीट भाजपा का गढ़ रही है। 2019 के चुनाव में बीजेपी के रमाकांत भार्गव यहां से सांसद बने, तो इससे पहले 2009 और 2014 में बीजेपी की केंद्रीय नेता सुषमा स्वराज भी यहां से सांसद चुनी गईं थीं।

छिंदवाड़ा सीट पर पूरे देश की नजर

मध्यप्रदेश में बीजेपी पिछले 10 साल से क्लीन स्वीप के करीब है। मगर छिंदवाड़ा सीट नहीं जीत पाने से भाजपा का यह ख्वाब पूरा नहीं हो पा रहा। इस बार भी छिंदवाड़ा में पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के बेटे नकुलनाथ मैदान में हैं। जिनका मुकाबला भाजपा के विवेक बंटी साहू से है।

इतिहास- 2019 में भाजपा मध्यप्रदेश की 29 में 28 सीट जीती, मगर छिंदवाड़ा से कांग्रेस के नकुलनाथ ने जीत दर्ज की। इससे पहले भी 1998 से 2014 तक यहां से कांग्रेस के कमलनाथ ही सांसद रहे। इस सीट पर 1952 से अब तक कांग्रेस का ही कब्जा रहा है। सिर्फ 1997 के उपचुनाव में बीजेपी ने जीत दर्ज की थी।

राजगढ़ जीत पाएंगे दिग्विजिय सिंह ?

राजगढ़ लोकसभा सीट भी मध्यप्रदेश की चर्चित सीटों में शामिल है। यहां पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव मैदान में उतारा है, जिनका मुकाबला भाजपा के मौजूदा सांसद रोडमल नागर से है।

इतिहास- राजगढ़ सीट पर पिछले 10 साल से भाजपा का कब्जा रहा है। 2019 और 2014 के लोकसभा चुनाव में यहां से बीजेपी के रोडमल नागर ने जीत दर्ज की। 2009 में यह सीट कांग्रेस के नारायण सिंह ने जीती। तो 2004 में यहां भाजपा का सांसद बना।

ग्वालियर सीट पर कौन होगा विजेता ?

मध्यप्रदेश की ग्वालियर सीट भी चर्चित सीटों में शामिल है। यहां से इस बार बीजेपी ने मौजूदा सांसद विवेक नारायण का टिकट काटकर भारत सिंह कुशवाह को चुनाव मैदान में उतारा है। जिनका मुकाबला कांग्रेस के प्रवीण पाठक से है।

इतिहास- ग्वालियर सीट 2009 से ही भाजपा के खाते में रही है। 2009 में भाजपा की यशोधरा राजे यहां से सांसद बनीं। 2014 में भाजपा के नरेंद्र सिंह तोमर चुने गए। 2019 में बीजेपी के विवेक नारायण ने यहां से जीत दर्ज की।

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इंदौर पर पहले ही खिल गया कमल !

इंदौर सीट को भाजपा लोकसभा चुनाव के नतीजों से पहले ही जीती हुई मान रही है। क्योंकि यहां कांग्रेस प्रत्याशी अक्षय कांति बम ने 13 मई को मतदान से पहले ही नामांकन वापस ले लिया था। जिसके बाद यहां के मतदाताओँ से कांग्रेस ने नोटा को वोट करने की अपील की थी।

इतिहास- 2019 में इस सीट पर भाजपा के शंकर लालवानी ने ही जीत दर्ज की थी। इससे पहले 1989 से 2014 तक भी यह सीट भाजपा के खाते में रही। इस दौरान भाजपा की सुमित्रा महाजन यहां से लगातार सांसद बनीं।

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