भोपाल न्यूज: शिवराज के गढ़ बुधनी में कड़ा मुकाबला, कांग्रेस की रणनीति और बीजेपी की अंदरूनी लड़ाई

भोपाल न्यूज: मध्य प्रदेश की दो सीटों पर होने वाले उपचुनाव में जहां दोनों पार्टियां दम लगा रही हैं। वहीं, बीजेपी में अंतर्कलह मची हुई है।
भोपाल न्यूज  शिवराज के गढ़ बुधनी में कड़ा मुकाबला  कांग्रेस की रणनीति और बीजेपी की अंदरूनी लड़ाई

भोपाल न्यूज: मध्य प्रदेश की दो सीटों पर होने वाले उपचुनाव में जहां दोनों पार्टियां दम लगा रही हैं, वही कांग्रेस पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की विधानसभा सीट बुधनी पर खास रणनीति के तहत उतर रही है। उसने 64 विधायकों में से 40 विधायकों को बुधनी में उतार दिया है और कांग्रेस के पक्ष में माहौल तैयार करने की जिम्मेदारी दी है।

बीजेपी में उठ रहे बगावत से सुर

बुधनी विधानसभा सीट पर बीजेपी में अंदरूनी घमासान मचा हुआ है। पूर्व सांसद रमाकांत भार्गव जो कि शिवराज के बेहद करीबी माने जाते हैं, शिवराज ने उनको टिकट दिलाया। हालांकि, विरोध इस बात का है कि रमाकांत भार्गव पैराशूट लैंडिंग वाले हैं और उनके स्थानीय लोग विरोध कर रहे हैं। वहीं, पूर्व विधायक राजेंद्र सिंह ने 2005 में शिवराज सिंह चौहान के लिए सीट छोड़ी थी, वे भी बगावत के सुर दिखा रहे हैं।

राजेंद्र सिंह को साधने के लिए शिवराज के ही करीबी रामपाल सिंह को बुधनी में डैमेज कंट्रोल के लिए भेजा गया लेकिन उन्हें भी कार्यकर्ताओं की नाराजगी का सामना करना पड़ा और अपने भाषण को बीच में छोड़ना पड़ा। बिगड़ते माहौल को देखते हुए रामपाल सिंह मीडिया से बचते दिखाई दिए और कार्यकर्ताओं की नाराजगी पर कहा कि कार्यकर्ताओं को अपनी बात कहने का अधिकार है। वक्त रहते सब ठीक कर लिया जाएगा।

कांग्रेस लगा रही पूरा जोर

कांग्रेस ने जातिगत समीकरण को देखते हुए पूर्व मंत्री राजकुमार पटेल को उतारकर शिवराज सिंह की बिसात को चुनौती देने की कोशिश की। इस बार शिवराज के गढ़ को भेदने के लिए कांग्रेस ने 40 विधायकों को वहां पर तैनात किया। सबको कहा गया है कि हर हाल में कैसे भी मुकाबले को जीतने के लिए पूरा दम लगा दें। बीजेपी में रमाकांत भार्गव को लेकर अंदरुनी विरोध है। एक तो उनकी उम्र का हवाला दिया जा रहा है तो वहीं शिवराज के बेटे कार्तिकेय चौहान को टिकट नहीं मिलने से शिवराज के समर्थक भी नाराज हैं। वे कार्तिकेय के लिए टिकट की आस लगाए बैठे थे।

कौन हैं राजेंद्र राजपूत

राजेंद्र सिंह राजपूत बुधनी सीट से 2003 में विधानसभा चुनाव जीत चुके हैं। जब 2005 में शिवराज सिंह को सीएम बनाया गया तो इन्होंने सीट खाली कर दी थी। राजेंद्र सिंह वेयर हाउसिंग कॉर्पोरेशन के अध्यक्ष रह चुके हैं। माना जा रहा था कि बुधनी उप चुनाव में बीजेपी की तरफ से टिकट के दावेदार रहे। वहीं, रमाकांत भार्गव को शिवराज सिंह ने विदिशा सांसद का टिकट दिलाया।

रमाकांत भार्गव ने विदिशा लोकसभा 2019 में चुनाव लड़ा और सांसद बने। रमाकांत, शिवराज सिंह चौहान के करीबी भी माने जाते हैं। रमाकांत बुधनी विधानसभा के 6 चुनाव में शिवराज सिंह के चुनाव संचालक रह चुके हैं। 2024 के चुनाव में रमाकांत का टिकट काटकर बीजेपी ने पूर्व सीएम शिवराज को विदिशा से अपना उम्मीदवार बनाया था।

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